Log Kehte Hain Pagal
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Lyrics
लोग कहते हैं पागल हूँ मैं, ये भी ना जानूँ दिल लुटाया है मैंने, अब किसी की ना मानूँ चैन देकर के मैंने बेचनियाँ ये ली हैं नींदें उड़ा के मैंने तुमसे वफ़ाएँ की हैं क़सम की क़सम है, क़सम से हमको प्यार है सिर्फ़ तुम से क़सम की क़सम है, क़सम से हमको प्यार है सिर्फ़ तुम से अब ये प्यार ना होगा फिर हम से ♪ कुछ इशारों में तुमने हमसे जो ये कहा है अब यक़ीं आ रहा है, तुमको भी कुछ हुआ है क्यूँ तुमको देखते हैं? क्या दिल में सोचते हैं तूफ़ाँ जो उठ रहा है, हम उसको रोकते हैं क़सम की क़सम है, क़सम से हमको प्यार है सिर्फ़ तुमसे क़सम की क़सम है, क़सम से हमको प्यार है सिर्फ़ तुमसे अब ये प्यार ना होगा फिर हमसे
Audio Features
Song Details
- Duration
- 02:41
- Key
- 8
- Tempo
- 138 BPM